एमपी के संविदाकर्मियों के लिए अच्छी खबर है. प्रदेश के 1.50 लाख से ज्यादा संविदाकर्मियों को सरकार ने राष्ट्रीय पेंशन योजना के दायरे में लाने की कवायद शुरू की है. अभी कई कर्मचारी इसके बाहर हैं वहीं कुछ का PF (भविष्य निधि) कटता है. इसी व्यवस्था को एकीकृत करने के लिए  लाने के लिए वित्त विभाग ने सभी विभागों में अनिवार्य रूप राष्ट्रीय पेंशन योजना को लागू करने की तैयारी की है.

इन कर्मचारियों को योजना के दायरे में रखा जाएगा

एमपी के स्कूल शिक्षा, महिला बाल विकास, पंचायत एवं ग्रामीण विकास सहित कई विभागों में कार्यरत संविदा कर्मचारियों को योजना में शामिल करने की तैयारी पूरी कर ली है. इन विभाग के कर्मचारियों को राष्ट्रीय पेंशन योजना के दायरे में हैं, तो वहीं कुछ का PF कट रहा है. सभी के लिए एक जैसी व्यवस्था बनाने के लिए योजना में एकरुपता के लिए काम किया जा रहा है. विधानसभा चुनाव के पहले पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने इसका आश्वासन भी दिया था. हालांकि लोकसभा चुनाव के लिए आचार संहिता के बाद इसके आदेश जारी नहीं हो सके.

चुनाव के बाद आएगा आदेश

वित्त विभाग ने अब इसकी तैयारी पूरी कर ली है इस मामले में अब सभी संविदा कर्मचारियों को राष्ट्रीय पेंशन योजना के दायरे में लाने का आदेश चुनाव के बाद जारी होगा. बता दें राष्ट्रीय पेंशन योजना यानी (NPS) में कर्मचारी अपनी मर्जी से सैलरी का कुछ हिस्सा रिटायरमेंट या अपने भविष्य के लिए सेव करते हैं. राष्ट्रीय पेंशन योजना (National Pension Scheme) के तहत योजना का लाभ लेने वाला प्रत्येक हितग्राही “सेंट्रल रिकॉर्ड कीपिंग एजेंसी” (CRA) के साथ एक खाता खोलता है. इस खाते की पहचान एक PRAN नंबर के जरिए की जाती है. इसी में उसका पैसा जमा होता है.