नई दिल्ली ।   केंद्र सरकार ने विधानसभा और लोकसभा चुनाव एक साथ कराने ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ की दिशा में आगे बढ़ना शुरू कर दिया है। केंद्र सरकार ने‘वन नेशन, वन इलेक्शन’पर कमेटी का गठन शुरू कर दिया है। कमेटी का अध्यक्ष पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को बनाया गया है। बता दें, केंद्र सरकार ने 18 से 22 सितंबर तक संसद का विशेष सत्र बुलाया है। चर्चा है कि इस सत्र में कई बड़े बिल लाए जा सकते हैं, जिनमें ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’प्रमुख है। विपक्षी दलों को भी लगाने लगा है कि केंद्र सरकार लोकसभा चुनाव समय पूर्व करवा सकती है। इस साल मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और तेलंगाना में विधानसभा चुनाव होने हैं।

आगे क्या होगा

कमेटी के गठन की अधिसूचना जारी होगी
कमेटी कानूनी पहलुओं पर विचार करेगी
सभी पक्षों की राय भी जानेगी
इसके बाद रिपोर्ट तैयार कर सरकार को सौंपी जाएगी
रिपोर्ट के आधार पर सरकार आगे का फैसला लेगी
लागू करने पर फैसला हुआ तो बिल तैयार किया जाएगा
पहले कैबिनेट और फिर संसद में पेश किया जाएगा
संसद विशेष सत्र: 5 दिन में ये बिल ला सकती है सरकार
एक देश, एक चुनाव 
महिला आरक्षण विधेयक
यूनिफॉर्म सिविल कोड

संसद के विशेष सत्र पर सबकी नजर

केंद्र सरकार ने संसद के विशेष सत्र की घोषणा की है। इसके बाद चर्चा हो रही है कि आखिर सरकार ने यह कदम क्यों उठाया? विपक्ष कह रहा है कि सरकार डर गई है। वहीं कुछ लोगों का मानना है कि यह भी सरकार का मास्टर स्ट्रोक है।
बता दें, पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जैसे विपक्षी नेता पहले ही दावा कर चुके हैं कि एनडीए सरकार लोकसभा चुनाव समय से पहले करा सकती है।
विपक्ष एक तरफ यह भी कह रहा है कि सरकार डरी हुई है, लेकिन वो सभी चुनाव एक साथ कराने के मुद्दे पर सरकार का साथ देगा, इस पर संशय है।